उत्तराखंड

ऑपरेशन सिंदूर ने दिखाई भारत की परिपक्व राष्ट्र की छवि

सुदीप पंचभैया।

पाकिस्तान स्थित आतंकी ठिकानों को नेस्तानाबूत करने को शुरू किए गए ऑपरेशन सिंदूर में दुनिया ने भारत की एक परिपक्व राष्ट्र की छवि को देखा। पड़ोसी चीन को छोड़ दिया जाए तो अमेरिका, रूस, इजराइल हो या फिर इस्लामिक देश सभी भारत की सूझबूझ की सराहना ही नहीं कर रहे हैं बल्कि एक्शन को भी जायज ठहरा रहे हैं।

22 अप्रैल को पाक प्रायोजित आतंकवादियों ने पहलगाम में 26 भारतीयों समेत 27 लोगों की गोली मारकर हत्या कर दी। आतंकियों की इस हरकत से पूरे देश में गुस्सा था। सरकार पर आतंक के पालनहारों पर एक्शन लेने का दबाव था। भारत सरकार इस मामले में भावनाओं को दूर रखते हुए बेहद समझदारी और जिम्मेदारी के साथ आगे बढ़ी।

15 दिनों में भारत ने बेहद सदे अंदाज मंे दुनियां जहां के सम्मुख पाकिस्तान की नापाक इरादों को रखा। 6/7 मई की रात को भारत ने पाकिस्तान स्थित आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक कर दी। एयर स्ट्राइक इतनी सटीक थी कि पाकिस्तान को संभलने का मौका ही नहीं मिला। उसके नौ आतंकी ठिकानों को नेस्तानाबूत कर दिया। भारत ने विश्व को मीडिया के माध्यम से इसकी जानकारी दी। विदेश सचिव विक्रम मिस्त्री और कर्नल सोफिया कुरैशी और व्योमिका सिंह ने आतंकी ठिकानों पर भारतीय सेवा के एक्शन के बारे मंे बताया।

भारत ने एक जिम्मेदार और परिपक्व राष्ट्र की तरह से अपना पक्ष दुनिया के सम्मुख रखा। इसमें न तो एयर स्ट्राइक को लेकर बड़ी-बड़ी बातें कही गई और न ही इसे बढ़ा चढ़कार प्रस्तुत किया गया। टू-द प्वाइंट बताया गया कि 25 मिनट की कार्रवाई में कहीं भी पाकिस्तान मिलिट्री या सिविलियन को निशाना नहीं बनाया गया। कहा कि अभी जितनी जरूरत महसूस की गई उतनी ही कार्रवाई की गई।

भारत के इस पक्ष को दुनियां ने गौर से सुना और सही भी माना। दो महिला अधिकारियों से इसकी जानकारी दिलाकर भारत ने ऑपरेशन सिंदूर को भी अच्छे से समझा दिया है। पाकिस्तान को संदेश दे दिया है कि भारत की बेटियां जब चाहें तब उसके चेहरे को बेनकाब कर सकती है।

पाकिस्तान के हुक्मरानों और सेना में इससे हड़कंप है। देश के भीतर कई व्यवस्थागत समस्याओं से जूझ रही पाकिस्तानी सेना अब अपने आवाम का ध्यान भटकाने के लिए उन्माद फैलानी की फिराक में है। हालांकि पाकिस्तान का आम जनमानस रग-ठग की तरह काम करने वाली सेना के अधिकारियों और हुक्मरानों को अच्छे से जानने और समझने लगे हैं।

बहरहाल, 7/8 मई को पाकिस्तान ने भारत को एक दर्जन से अधिक बड़े शहरों पर मिसाइल से हमला किया। इस हमले को भारत एयर डिफेंस सिस्टम ने नाकाम कर दिया। इससे पाकिस्तान बौखला गया। इसके जवाब में भारतीय वायु सेना और सेना ने भी मोर्चा खोला और पाकिस्तान को खासा नुकसान झेलना पड़ा। पूरे पाकिस्तान में डर का माहौल बना है। पाकिस्तान के गैरजिम्मेदार हुक्मरान, सेना के आलाधिकारी परमाणु संपन्न राष्ट्र की माला जपने लगे हैं। उसके सांसद रो रहे हैं। उसका मीडिया अपने देश के लोगों के सम्मुख गलत तथ्य रख रहा है।

इन सबके बीच पाकिस्तान एक बार फिर से 1971 की तरह से टूटने की कगार पर पहुंच गया है। बलूचिस्तान में पाक सेना को जबरदस्त विरोध से रूबरू होना पड़ रहा है। पाक अधिकृत कश्मीर के लोग भारत में शामिल होने का इंतजार कर रहे हैं। वहां भी आए दिन पाकिस्तान के खिलाफ नारेबाजी हो रही है।

कुल मिलाकर 50 साल के भीतर पाकिस्तान एक बार फिर से टूटने और बरबाद होने की कगार पर पहुंच गया है। उसकी टू नेशन थ्योरी उसे भारी पड़ने लगी है।

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